साइबर ठग गिरफ्तार , खाते खुलवाकर साइबर अपराधियो के करता था बेचने का काम

अपर पुलिस महानिदेशक कानपुर जोन, कानपुर एवं पुलिस उप महानिरीक्षक झांसी, परिक्षेत्र झांसी के निर्देश के क्रम में पुलिस अधीक्षक मो0 मुश्ताक के निर्देशन में अपर पुलिस अधीक्षक अनिल कुमार एवं क्षेत्राधिकारी पाली सुनील भारद्वाज के निकट पर्यवेक्षण में साइबर थाना ललितपुर पुलिस द्वारा थाने पर पंजीकृत आरोपी जितेन्द्र उर्फ जीतू यादव पुत्र रामस्वरुप यादव निवासी गुमनावारा करगुवा जी गेट -2 के सामने थाना नवाबाद जिला झाँसी को मंगलवार दोपहर 12,40 बजे गिरफ्तार कर लिया ।
घटना का संक्षिप्त विवरण
वादी मुकदमा द्वारा प्रार्थना- पत्र देकर अवगत कराया था कि अभियुक्तगण द्वारा धोखाधड़ी करने के उद्देश्य से , वादी का फेडरल बैंक में खाता खुलवाना एवं उसके साथ धोखाधड़ी करके उक्त खाते में अपना मोबाइल नम्बर रजिस्ट्रर्ड कराकर , उक्त खाते का प्रयोग साइबर अपराध के रूप में करने के सम्बन्ध में दिया गया था ।
प्रार्थना -पत्र के आधार पर साइबर थाना ललितपुर में सुसंगत धाराओ में अभियोग पंजीकृत किया गया था तथा विवेचना प्रचलित की गई थी ।
साइबर क्राइम थाना पुलिस द्वारा मुखबिर व तकनीकी साक्ष्य संकलन कर , उनका तकनीकी रूप से अवलोकन व विश्लेषण कर अपराधियों को चिन्हित कर उनकी रूट मैपिंग की गयी । संबंधित एजेंसियों से प्राप्त CDR/IPDR के डेटा का एनालिसिस, बयान साक्षीगण व अभियुक्तों द्वारा साइबर अपराध में प्रयोग किये गये बैंक खातों के स्टेटमेंट व भारत सरकार द्वारा प्रदत्त NCRP पोर्टल के तकनीकी डेटा के अवलोकन से अभियुक्त जितेन्द्र उर्फ जीतू यादव उपरोक्त का नाम प्रकाश में आया, जिसको नियमानुसार गिरफ्तार किया गया ।
झांसी निवासी निकला आरोपी
जितेन्द्र उर्फ जीतू यादव पुत्र रामस्वरुप यादव निवासी गुमनावारा करगुवा जी गेट -02 के सामने थाना नवाबाद जिला झाँसी बताया गया ।
पूछतांछ में बोला आरोपी
अभियुक्त जितेन्द्र उर्फ जीतू यादव ने पूछने पर बताया कि वह भोले-भाले लोगो को बताता था कि आप लोग अपना बैंको में खाता खुलाइये जिसमें आप लोगो को सरकारी योजनाओं का रुपये मिलेगा जिससे वह लोग झांसे में आकर बैंको में अपना खाता खुलवा लेते थे और मैं उनके धोखाधड़ी करके उनके खातो में अपना मोबाइल नम्बर डलवा देता था फिर उन खातो को मैं साइबर अपराधियों को बेंच देता था । मुझे एक खाते के बदले 40 हजार रुपये मिलते थे । मै जितने अधिक खाते खुलवाता था उतना अधिक पैसा कमाता था फिर मै उन पैसो से अपने शौक व जरूरतें पूरी करता हूँ । साहब मुझसे गलती हो गयी मुझे माफ कर दीजिये ।
*गिरफ्तार करने वाली टीम-*
प्राभारी निरीक्षक कृष्ण देव यादव साइबर क्राइम थाना टीम के साथ मौजूद था