खनन कारोबारी पर जबरन मजदूरी कराने का मामला दर्ज

पुलिस खनन माफिया की तलाश में जुटी
तालबेहट। खनन के दौरान मजदूरों की मौत के बाद मृतकों की ओर से मारपीट, गाली गलौच और जबरन मजदूरी कराने का मामला दर्ज किया गया। खांदी के गणेशपुरा निवासी अंजना पत्नी स्व सुनील अहिरवार निवासी ने कोतवाली पुलिस को दी शिकायत में बताया कि दिनांक 04.05.2025 समय शाम करीब 5 बजे उसके पति सुनील और उसके चचेरे देवर अमर सिंह उर्फ भज्जू अपने सगे रिश्तेदार की लड़की की शादी में शामिल होने के लिए ग्राम विरधा जा ही रहे थे । उसी समय विपक्षी भरत सिंह यादव पुत्र हुकुम सिंह यादव निवासी गनेशपुरा खांदी नीले रंग का ट्रेक्टर लेकर हमारे घर आया और बोला कि अमर सिंह व् सुनील दोनों हमारे साथ ट्रेक्टर पर चलो थोडा घर का काम करना है । जब प्रार्थिनी के पति सुनील पुत्र प्रागीलाल व् देवर अमर सिंह उर्फ भज्जू पुत्र गोविन्ददास ने कहा कि हम अपने परिवारों को लेकर शादी में जा रहे है तो विपक्षी उत्तेजित हो गया और कहने लगा कि साले हो यदि हामारे ट्रेक्टर पर नहीं जाओगे तो गाँव में नहीं रह पाओगे और जाति सूचक गंदी गंदी गालियाँ देते हुए जबरन ट्रेक्टर पर बिठा कर जंगल में यह जानते हुए भी कि खदान बहुत गहरी है और टीला गिरने से किसी की भी जान जा सकती है। फिर भी विपक्षी बालू निकालने के लिए ले गया। जब प्रार्थिनी का जेठ हंशराम पुत्र गोविन्दास तालबेहट से समय करीब 8 बजे सब्जी लेकर वापिस घर पंहुचा तो पता चला कि प्रार्थिनी का पति व् देवर अमर सिंह बालू की बदान में दब गए है और जेठ हंसराम तत्काल जानकारी करते हुए मौके पर पहुंचा तो देखा कि भरत सिंह का ट्रेक्टर खड़ा है और विपक्षीगण रमेश पुत्र हुकुम सिंह बंटी व राजेंद पुत्रगण रमेश अजय तनय भरत सिंह मेरे चचेरे भाई सुनील को ट्राली में रख कर कही से वापिस लाकर जैक उठाकर ट्राली से बालू की खदान में पटक रहे है । जेठ ने जानकारी करना चाही तो विपक्षीगणों ने जान से मारने की धमकी देते हुए हंसराम को मौके से खदेड़ दिया। जेठ हंसराम छुपकर डायल पुलिस 112 एवं कोतवाली पुलिस को सूचना दी मौके पर पुलिस थाना तालबेहट ने दोनों शवों को कब्जे में लेकर कार्यवाही की।विपक्षीगणों ने मेरे पति व् देवर बालू निकालने के लिए खदान में भेजकर खदान के ऊपर दोनों ट्रेक्टरो से अवैध खनन करते हुए जान बूझकर घटना को अंजाम दिया है क्योंकि मेरा पति, देवर एवं परिवार के लोग अक्सर विपक्षीगणों के साथ अवैध खनन को जाने से मना कर देते थे। पुलिस से शिकायत संबंधी धाराओं में मुकदमा पंजीकृत कर खनन माफिया की तलाश शुरू कर दी।