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एक्सपोजर विजिट में बच्चों ने देखा चंदेरी का पुरातात्विक वैभव-

 

● पुरातात्विक संपदा को देखकर बच्चे हुए गदगद

● खंड शिक्षा अधिकारी ने हरी झंडी दिखाकर बस को किया रवाना-

(ललितपुर) राष्ट्रीय अविष्कार अभियान के अन्तर्गत एक्सपोजर विजिट के द्वारा विकास खंड बार के परिषदीय उच्च प्राथमिक एवं कंपोजिट विद्यालयों के चयनित बच्चों को राजघाट बांध एवं चंदेरी का भ्रमण कराया गया। बीईओ बार शैलजा व्यास ने बस को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। इस दौरान बच्चों को संबोधित करते हुए बीईओ शैलजा
व्यास ने कहा कि एक्सपोजर विजिट के माध्यम से बच्चों को जनपद व आस-पास के पर्यटन क्षेत्र व ऐतिहासिक स्थलों की जानकारी हेतु यह विजिट आयोजित किया जा रहा है।जिससे बच्चे जनपद के पुरातात्विक वैभव को पहचानें।ब्लॉक बार के एकेडमिक रिसोर्स पर्सन(विज्ञान) प्रदीप कुमार सोनी ने जानकारी देते हुए बताया कि बच्चों की जिज्ञासा आधारित शिक्षा को बढावा देने एवं वैज्ञानिक मनोवृत्ति का विकास करने,प्रयोग के अवसर उपलब्ध कराने और गणित,
विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी को लोकप्रिय बनाने के उद्देश्य से शिक्षा मंत्रालय,भारत सरकार द्वारा “राष्ट्रीय अविष्कार
अभियान” कार्यक्रम संचालित किया जाता है। एक्सपोजर विजिट में ब्लॉक स्तर पर आयोजित प्रतियोगिता में सम्मिलित बच्चों को हाइड्रो पावर इलेक्ट्रिक जेनरेशन प्लांट ,राजघाट बांध एवं ऐतिहासिक धरोहरों की विस्तृत एवं स्थलीय जानकारी देने हेतु भ्रमण पर गये बच्चों के एतिहासिक और वैज्ञानिक दृष्टिकोण को विकसित करने के लिए प्रभारी अध्यापकों ने बच्चों को कहानियों के माध्यम से जानकारी उपलब्ध कराई गई। बच्चों को राजघाट बांध में स्थित जल विद्युत संयंत्र एवं चंदेरी की विविध सांस्कृतिक विरासत एवं विंध्याचल पर्वत श्रृंखला में स्थित प्राकृतिक संपदा के बारे में भी विस्तार से बताया गया।चंदेरी राज्य
में शासन करने वाले विभिन्न शासकों द्वारा निर्मित किला कोठी, कौशक महल तथा कटी घाटी में बच्चों को पत्थरों पर उत्कीर्णित की गई विभिन्न कलाकृतियां एवं भवन निर्माण की पुरातन शैली के बारे में भी जानकारी दी गई।भ्रमण के दौरान बच्चों ने आउटडोर गैम का आनंद लिया एवं सांस्कृतिक कार्यक्रम भी प्रस्तुत किए।विभाग द्वारा बच्चों के भ्रमण हेतु रिजर्व बस एवं भोजन आदि की समुचित व्यवस्था की गई।चंदेरी के पुरातन वैभव देखकर बच्चे बहुत ही प्रसन्न हुए।इस दौरान एकेडमिक रिसोर्स पर्सन(विज्ञान) प्रदीप कुमार सोनी,वरिष्ठ एआरपी जयकुमार तिवारी,अरविंद गौतम,महेश वर्मा,संतोष सिद्धिकी,अखिलेश श्रीवास्तव,हाकिम सिंह यादव,शिवकुमार राजौरिया,रियाज अहमद,पुष्पेंद्र जैन
,डां०बृजेश कुशवाहा,राकेश रजक,जितेंद्र जैन,सुरेश साहू,रामेंद्र यादव,दीपक सिंघई,मंगल सिंह,पुष्पा वर्मा,अनुराधा
मोदी,रूकमणि सोनी,एकांटेंट रवींद्र प्रजापति,अतुल रावत,कुलदीप,
रवीन्द्र कुमार,सतीश रठानिया,विमलेश
कुमार, अनिल कुमार मौजूद रहे।एक्सपोजर विजिट प्रभारी के रूप में अखिलेश श्रीवास्तव,हाकिम सिंह यादव का विशेष सहयोग रहा।

● इनका कहना है●

01- सबसे लंबा बांध देखा- मुस्कान

कंपोजिट विद्यालय डुलावन की छात्रा मुस्कान प्रजापति का कहना है कि इस आधुनिक स्मारक की आधारशिला पूर्व प्रधानमंत्री स्व० इंदिरा गांधी द्वारा सन् 1971 में रखी गई थी। उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश राज्यों की सीमा पर अवस्थित यह बांध बेतवा नदी पर बनाया गया है।जिसमें तीन टर्बाइनें बिजली उत्पादन के लिए स्थापित हैं।यहाँ निर्मित रेत की बैरियर की लंबाई लगभग 11 किलोमीटर से अधिक है, जो सबसे लंबा बांध है।

02- चंदेरी का किला देखकर जाना इतिहास- काजल

उच्च प्राथमिक विद्यालय लडवारी की छात्रा काजल का कहना है कि बलुआ पत्थर की 250 फीट ऊंची चट्टान पर स्थित यह किला उत्तर से दक्षिण तक लगभग एक मील से ज्यादा क्षेत्र में फैला हुआ है। महाभारत काल के नौवीं शताब्दी के किले को देखा।इस किले के प्रवेश द्वार को खूनी दरवाजा कहा जाता है,क्योंकि यहां पर कैदियों को सजा दी जाती थी।यह किला मुझे बहुत ही अच्छा लगा है।

03- विशाल घाटी देखकर रह गई
अचंभित- रविता

पूर्व माध्यमिक विद्यालय वस्त्रावन की छात्रा रविता का कहना है कि चंदेरी नगर के दक्षिण में पहाड़ को काटकर कटी घाटी एवं प्रवेश द्वार बनाया गया है 80 फीट ऊंचा 39 फीट चौड़ा और 192 फीट लंबाई में पहाड़ी को काटकर इस घाटी का निर्माण किया गया है। जिसके दोनों ओर बुर्ज बनाए गए हैं। इस विशाल घाटी को देखकर मैं अचंभित रह गया। मैंने पहली बार इस प्रकार का दृश्य देखा।

04- स्थापत्य कला का गढ चंदेरी –
विशेष यादव

उच्च प्राथमिक विद्यालय गढिया के छात्र विशेष यादव का कहना है कि स्थापत्य कला का अनूठा स्मारक चंदेरी नगर से चार किलोमीटर की दूरी पर मुंगावली जाने वाले राजमार्ग पर है। महल के मध्य में खड़े हो जायें तो यह स्मारक धन के आकार में चार बराबर खंडों में बंटा हुआ दिखाई देता है।इसके चारों खंडों का नाप एवं डिजायन सभी एक समान है।इस ढांचे की समरूपता,ज्यामितीय तत्वाधारिता इसकी प्रमुख विशेषताएं हैं।

 

02- चंदेरी किला व कटी घाटी में मौजूद बच्चे

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